पटना/बक्सर: बक्सर के चौसा गांव के निवासियों ने सोमवार को महादेव घाट के पास गंगा में तैरते कोविड19 मरीजों के शवों को तैरता पाया गया ।
स्थानीय लोगों ने मीडियाकर्मियों को बताया कि उन्होंने नदी में कम से 150 शवों को तैरते हुए देखा । बक्सर जिला प्रशासन ने हालांकि इस दावे का खंडन करते हुए इनकी संख्या 30 आंकी। इसमें दावा किया गया था कि शव पड़ोसी उत्तर प्रदेश से आ रहे हैं।
एक व्यक्ति ने सोमवार को चौसा के महादेव घाट पर संवाददाताओं से कहा- “शरीर Covid-19 से संक्रमित लोगों के हैं । सुबह से ही मैंने खुद 30-35 से ज्यादा शव देखे हैं। कुछ लोगों ने शवों को नदी में डुबो दिया, जबकि अन्य ने पानी में अधजले शवों का निस्तारण किया।”
कुछ स्थानीय लोगों ने श्मशान और दाह संस्कार मे ज्यादा पैसे लागने के वजह से नदी में शवों की डंपिंग को जिम्मेदार ठहराया क्योंकि कोविड की मौतों के लिए ज्यादा पैसा लिया जा रहा है ।
एक अन्य स्थानीय ने कहा कि नदी किनारे के गांवों के निवासी संक्रमित होने को लेकर डरे हुए हैं । स्थिति खतरनाक है । नदी में 150 से अधिक संक्रमित शव तैर रहे हैं। कटघरवा, कमहरिया और चौसा जैसे इलाकों के लोग सदमे और डर में हैं । उन्होंने कहा, वे इस घाट पर अंतिम संस्कार के लिए भी आने से भयभीत हैं ।
बक्सर डीएम अमन समीर ने प्रेस बयान में बताया कि जांच में गंगा में करीब 30 शव ऐसे मिले हैं जो तीन से चार दिन पुराने थे और बक्सर जिले के नहीं थे।
ग्रामीणों ने बक्सर एसडीपीओ और एसडीओ से मिलकर जांच टीम को बताया कि शव स्थानीय नहीं है और एक-दो दिन में कहीं और से बह कर आए है। डीएम ने कहा कि इससे साफ है कि शव पड़ोसी राज्य से नदी में तैरते हुए आए हैं।
डीएम ने कहा, ‘नदी में पार्थिव शरीर का निस्तारण करते पाए जाने वाले किसी भी व्यक्ति के खिलाफ दंडात्मक कार्रवाई करने के निर्देश भी दिए गए हैं।
डीएम ने कहा कि अज्ञात शवों का अंतिम संस्कार शव परीक्षण के बाद किया जाएगा और इसका खर्च राज्य सरकार वहन करेगी।
इस बीच, बक्सर नगर परिषद के कार्यपालक पदाधिकारी प्रेम स्वरूप ने एक समाचार चैनल को बताया कि नदी में लोगों के “डंपिंग बॉडी” की जांच शुरू कर दी गई है । हमने लोगों को नदी में शवों को फेंकने से रोकने के लिए तीन टीमों का गठन किया है । उन्होंने कहा, हमें सरकार से दिशा-निर्देश भी मिले हैं कि कोविड पॉजिटिव लोगों के शवों का दाह संस्कार सरकार द्वारा निशुल्क किया जाएगा ।
इसके बाद शाम को बक्सर के अनुमंडल दंडाधिकारी केके उपाध्याय ने बताया कि दाह संस्कार की प्रक्रिया शुरू हो गई है। उन्होंने कहा कि वह उत्तर प्रदेश के पड़ोसी गाजीपुर जिले में गए और वहां भी नदी में कई शव तैरते मिले ।
एसडीएम ने कहा कि जिला प्रशासन ने महादेव घाट पर लाइट और जनरेटर सेट भी उपलब्ध करा दिया है। अब तक 12 शवो को दफन कर दिया गया है । कुल मिलाकर पांच अधिकारी विघटित निकायों को साफ करने के लिए 24X7 काम कर रहे हैं ।